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MGSCTI MORENA ADDMISION OPEN FOR SHORTHAND AND CPCT MOB-7470639002 (MP HIGH COURT AG-3 HINDI TYPING DIC 17/05/2019)
created Dec 11th 2018, 00:57 by shivani sengar
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इस साक्षी ने यह पुष्टि की है उसने अर्धरात्रि में थाना चूनावर में घटना की रिपोर्ट दर्ज कराई थी। मोहन राम ने अपनी प्रतिपरीक्षा में यह प्रकथन किया है कि घटनास्थल पर एकत्र हुए व्यक्तियों में पुरूष, महिलाएं और बच्चे थे। इस साक्षी ने इस बात से इनकार किया है कि जो व्यक्ति वहां एकत्र हुए थे उनका आशय अपीलार्थी बृज लाल और सह-अभियुक्त काशी राम को पकडना था। इस साक्षी ने यह साक्ष्य दिया है कि भीड में से किसी भी व्यक्ति के पास कोई भी लाठी या डंडा नहीं था। इस साक्षी ने इस सुझाव से इनकार किया है कि बृज लाल और काशी राम पर ग्राम वासियों द्वारा लाठियों से हमला किया गया था। इस साक्षी ने यह बयान दिया है कि न तो बृज लाल और न ही काशी राम को घटना के दौरान कोई क्षति पहुंची। इस साक्षी ने इस सुझाव से भी इनकार किया है कि घटनास्थल पर एकत्र हुए लोगों ने अपीलार्थी और सह-अभियुक्त का पीछा किया था। इस साक्षी ने इस सुझाव से भी इन्कार किया है कि बृज लाल और काशी राम किराने की दुकान से बीडी खरीदने आए थे ओर वे उसके निवास स्थान पर राम लाल को पीटने या उसे क्षति पहुंचाने नहीं आए। राम लाल ने यह अभिसाक्ष्य दिया है कि वह राजस्थान सरकार के सिंचाई विभाग में नियोजित था। इस साक्षी ने इस बात की पुष्टि की है कि वह उसे सुलेमान हेड में आबंटित किए गए सरकारी मकान में अपनी पत्नी और तीन बच्चों के साथ रहता था। इस साक्षी ने यह साक्ष्य दिया है कि अपीलार्थी बृज लाल का सरकारी मकान उसके सरकारी मकान के निकट ही था। इस साक्षी ने यह प्रकथन किया है कि अपीलार्थी बृज लाल उसे गालियां दिया करता था और उसका जीजा काशी राम अपीलार्थी बृज लाल के साथ मौजूद होता था। इस साक्षी ने यह कथन किया है कि उसने अभियुक्त से ऐसी भाषा का प्रयोग करने से मना किया था क्योंकि वह एक पारिवारिक व्यक्ति था। इस साक्षी ने यह अभिसाक्ष्य दिया है कि उसने इस विवाद को निपटाने के लिए एक पंचायत बैठाई।
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